नानकमत्ता गुरुद्वारा कार सेवा प्रमुख बाबा तरसेम सिंह हत्याकांड के चार षड्यंत्रकारी पुलिस ने किए गिरफ्तार, लेकिन हत्यारे शूटर अभी भी है फरार

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नानकमत्ता(उधम सिंह नगर)- जनपद उधम सिंह नगर के नानकमत्ता कार सेवा डेरा प्रमुख बाबा तरसेम सिंह के हत्याकांड मामले में एसएसपी ने अपडेट देते हुए बड़े षड्यंत्र का खुलासा किया। गुरुवार को नानकमत्ता थाने में आयोजित प्रेस वार्ता में एसएसपी मंजूनाथ टीसी ने बाबा तरसेम हत्याकांड के बाद पुलिस की अभी तक की जांच पड़ताल की जानकारी दी है।

एसएसपी के अनुसार उक्त मामले में पुलिस टीमों के द्वारा यूपी के अलग अलग शहरों में जाच की जा रही थी, उसी क्रम में पीलीभीत से पुलिस ने 4 संदिग्धों को गिरफ्तार किया है। जिसमे इस हत्याकांड के मुख्य षड्यंत्रकारी जिसने बाबा तरसेम सिंह की हत्या के लिए 10 लाख रुपये की सुपारी पंजाब के शूटरों को दी थी वह भी शामिल है। इसके साथ ही बाबा तरसेम के पल पल की अपडेट शूटरों को देने वाले नानकमत्ता गुरुद्वारा साहिब का एक सेवादार भी शामिल है। उसी सेवादार ने हत्या में प्रयुक्त हथियार भी शूटरों को उपलब्ध करवाए थे।जबकि इसके साथ दो अन्य षड्यंत्रकारी भी पुलिस टीम ने गिरफ्तार किए है।

गिरफ्तार किए गए अभियुक्तों में क्रमशः दिलबाग सिंह निवासी थाना निगोही जिला शाहजहांपुर, अमनदीप सिंह उर्फ काला निवासी थाना अमरिया जिला पीलीभीत, हरमिंदर उर्फ पीदी निवासी थाना तिलहर शाहजहांपुर, बलकार सिंह निवासी थाना करेली जिला पीलीभीत शामिल है।

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स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम द्वारा की गई जांच के उपरांत यह तथ्य प्रकाश में आया कि घटना को जिन दो लोगों के द्वारा इस घटना को अंजाम दिया गया है उनमें से एक व्यक्ति की पहचान सर्वजीत सिंह निवासी तरन पंजाब के रूप में और दूसरे व्यक्ति की शिनाख्त अमरजीत उर्फ बिट्टू निवासी थाना कम्मो जिला अमृतसर पंजाब के रूप में हुई है। जांच में यह जानकारी भी मिली कि उपरोक्त दोनों व्यक्ति 19 मार्च को गुरुद्वारा नानकमत्ता साहिब आए थे और गुरुद्वारा नानकमत्ता साहिब की सराय में कमरा नंबर 23 में रुके थे। सराय मे कमरा लेते समय अभियुक्त सर्वजीत सिंह के द्वारा अपनी आईडी, आधार कार्ड एवं मोबाइल नंबर दिया गया था। सर्वजीत सिंह के बारे में जानकारी करने पर ज्ञात हुआ कि यह व्यक्ति पूर्व में कई अपराधिक गतिविधियों में लिप्त रहा है और इसके विरुद्ध लगभग एक दर्जन अभियोग गम्भीर धाराओं में पंजीकृत होना भी पाया गया।

सर्वजीत सिंह के मोबाइल की कॉल डिटेल के अनुसार वह दिनांक 19 मार्च से लेकर दिनांक 27 मार्च तक रामपुर/ बाजपुर/ किच्छा/ बरेली/शाहजहांपुर शहरों में घूमता रहा। सीसीटीवी फुटेज और मैनुअल इनपुट के आधार पर उपरोक्त दोनों अभियुक्त गणों की उचित शिनाख्त हुई। मैन्युअल इनपुट और इलेक्ट्रानिक सर्विलांस के आधार पर ज्ञात हुआ कि दोनों अभियुक्त गणों के द्वारा घटना में प्रयुक्त मोबाइल नंबर और मोबाइल फोन दिनांक 14 मार्च को ही कस्बा तिलहर जनपद शाहजहांपुर से क्रय किए गए थे। प्राप्त मोबाइल नंबरों के आधार पर अभियुक्त गणों के पुराने नंबर प्राप्त हुए जिनके विश्लेषण के उपरांत यह जानकारी मिली कि उपरोक्त दोनों अभियुक्त गण जनपद शाहजहांपुर तहसील पुवायां के ग्राम कबीरपुर निवासी दिलबाग सिंह, बलकार सिंह, सतनाम सिंह, परगट सिंह एवं हरविन्द्र सिंह उर्फ पिदी आदि के सम्पर्क में फरवरी माह से थे।

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उपरोक्त लोगों के द्वारा कुछ अन्य महत्वपूर्ण लोगों के कहने पर गुरुद्वारा नानकमत्ता साहिब स्थित डेरा कार सेवा एंव तराई क्षेत्र के अन्य महत्वपूर्ण डेरों के प्रबंधन को अपने वर्चस्व में लेने के आशय से बाबा तरसेम सिंह की हत्या की योजना बनाई गयी थी। इस योजना के अनुसार दिलबाग सिंह और उसके साथियों ने एक सुनोयोजित तरीके से पेशेवर अपराधियों सबरजीत सिंह और अमर जीत सिंह को निर्धारित किए गए हत्याकांड के लिए 10 लाख रुपए में हायर किया गया और घटना से पूर्व दोनों अपराधियों को 1 लाख 60 हजार रुपए एडवांस के तौर पर दिए थे। साथ ही दोनों अपराधियों को घटना करने के लिए हर प्रकार की सुविधा प्रदान की गई।

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सुनोयोजित साजिश के तहत अभियुक्त सवरजीत सिंह और अमरजीत सिंह उर्फ बिट्टू के द्वारा 19 मार्च को नानकमत्ता गुरुद्वारा साहिब की सराय में कमरा नंबर 23 किराए पर लिया गया और घटना को अंजाम देने तक निरंतर वहीं पर रहकर और घूम फिर कर बाबा तरसेम सिंह की दिनचर्या की जानकारी प्राप्त की गई साथ ही गुरुद्वारा साहिब के एक कर्मचारी अमनदीप सिंह उर्फ काला निवासी थाना अमरिया जिला पीलीभीत को लालच देकर उसकी सहायता से बीती 28 मार्च की सुबह बाबा तरसेम सिंह की सही-सही लोकेशन ज्ञात कर डेराकार सेवा में जाकर बाबा तरसेम सिंह को गोली मार दी गई। दोनों अपराधी घटना करने के उपरांत सीधे षड्यंत्रकारी दिलबाग सिंह निवासी जिला शाहजहांपुर के घर पर पहुंचे और वहां से दिलबाग सिंह और उसके साथियों से पूर्व में निर्धारित की गई धनराशि में से 5 लाख रूपये प्राप्त कर अभियुक्त दिलबाग सिंह की सहायता से फरार हो गये। फरार शूटर सरबजीत सिंह और अमरजीत सिंह की गिरफ्तारी पर कुमायूं रेंज स्तर से 1 लाख का नगद इनाम भी पुलिस द्वारा घोषित किया गया है।फिलहाल उक्त मामले में दोनो शूटर अभी भी फरार चल रहे है।

Deepak Fulera

देवभूमि उत्तराखण्ड में आप विगत 15 वर्षों से इलेक्ट्रॉनिक मीडिया पत्रकार के रूप में कार्यरत हैं। आप अपनी पत्रकारिता में बेबाकी के लिए जाने जाते हैं। सोशल प्लेटफॉर्म में जनमुद्दों पर बेबाक टिपण्णी व सक्रीयता आपकी पहचान है। मिशन पत्रकारिता आपका सर्वदा उद्देश्य रहा है।

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