चंपावत(उत्तराखंड)- टनकपुर पूर्णागिरी मार्ग पर स्थित बाटनागढ़ पर वर्षात में बंद होने वाली सड़क की समस्या का जल्द स्थाई समाधान के मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए है।जल्द ही इस स्थान पर लगभग 610 मीटर लंबा स्पान पुल का निर्माण किया जाएगा।इसके लिए विश्व बैंक को शीघ्र ही प्रस्ताव भेजा जाएगा। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जिलाधिकारी नरेंद्र सिंह भंडारी को शीघ्र ही प्रस्ताव विश्व बैंक परियोजना अंतर्गत तैयार कर शासन को भेजने के निर्देश दिए है।
पूर्व में जनपद भ्रमण के दौरान माननीय मुख्यमंत्री धामी द्वारा टनकपुर-पूर्णागिरि मार्ग पर बांटनागाड़ में मोटर पुल निर्माण की घोषणा की गई है। पुल बनने के बाद मां पूर्णागिरि के दर्शनार्थियों सहित स्थानीय आम जनमानस को आवागमन में असुविधा नही होगी।मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को सांय सचिवालय में शासन के उच्चाधिकारियों के साथ दोनों मंडलों के आयुक्तों एवं जिलाधिकारियों से वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से जनपदों में आपदा की स्थिति तथा राहत एवं बचाव कार्यों की जनपदवार समीक्षा की।
जनपद चंपावत की समीक्षा के दौरान मुख्यमंत्री ने मानसूनकाल में जिले की सड़क मार्गों सहित अन्य घटनाओं की जानकारी जिलाधिकारी चंपावत से ली जिलाधिकारी नरेन्द्र सिंह भंडारी ने अवगत कराया कि वर्तमान में प्रमुख राष्ट्रीय राजमार्ग टनकपुर-चंपावत यातायात हेतु सुचारू है,कहीं कहीं पर वर्षा के कारण मार्ग बंद हो जाता है जिसे तत्काल खोल दिया जाता है इस हेतु पर्याप्त मशीनरी जगह जगह रखी गई है, इसके अतिरिक्त ग्रामीण मार्ग भी बंद हो रहे हैं जिन्हें भी तत्काल खोले जाने हेतु कार्य गतिमान है। जिलाधिकारी ने माननीय मुख्यमंत्री को अवगत कराया कि टनकपुर- पूर्णागिरि मोटर मार्ग बाटनागाड़ में लगभग एक सप्ताह से बंद है जिसे खोले जाने हेतु 9 मशीनों व डंपर लगाए गए हैं लगातार कार्य जारी है, इस स्थान पर लगभग 375 मीटर सड़क मार्ग में 12 मीटर चौड़ाई व 8 मीटर ऊंचाई में मलवा भर गया है जिसमें से अभी तक 200 मीटर सड़क से मलवा हटाया जा चुका है शीघ्र ही शेष मलवा भी हटा लिया जाएगा। इस स्थान पर मुख्यमंत्री घोषणा के अंतर्गत स्थाई मोटर पुल बनाए जाने हेतु लोनिवि द्वारा 91.56 लाख का प्रथम चरण का प्रस्ताव शासन को भेजा गया है,इस सम्बंध में मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि इस पुल का प्रस्ताव विश्व बैंक परियोजनान्तर्गत रखा जाय।
बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों से नदियों के जलस्तर, लैंडस्लाइड, बन्द सड़कों, जानमाल की क्षति मुआवजा वितरण आदि की गहनता से समीक्षा करते हुए निर्देश दिए कि राजमार्गों के साथ ग्रामीण सड़कों को खोलने की सुचारू व्यवस्था के साथ आवश्यक उपकरणों की प्रभावित स्थलों पर व्यवस्था की जाए। मुख्यमंत्री नेजिलाधिकारियों से जनपदों के सुदूरवर्ती क्षेत्रों में स्थित चिकित्सालयों में डॉक्टरो, पैरामेडिकल स्टॉफ की रोटेशन के आधार पर व्यवस्था के साथ पर्याप्त मात्रा में दवाईयों की व्यवस्था तथा खाद्यान आपूर्ति बनाये रखने पर ध्यान देने को कहा।
बैठक में शासन से मुख्य सचिव डॉ एस.एस.संधु, अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, सचिव श्री अरविन्द सिंह ह्यांकी, सचिव मुख्यमंत्री श्री विनय शंकर पाण्डेय, अपर पुलिस महानिदेशक वी मुरूगेशन, सचिव आपदा प्रबंधन डॉ रंजीत सिन्हा,आई जी एस.डी.आर.एफ सुश्री रिद्धिम अग्रवाल सहित विभिन्न विभागों के उच्चाधिकारी एवं वीडियो कान्फ्रेसिंग के माध्यम से आयुक्त कुमाऊं दीपक रावत, जनपद चंपावत से पुलिस अधीक्षक देवेन्द्र पींचा,डीएफओ आर सी कांडपाल,सीडीओ आर एस रावत,एडीएम हेमन्त वर्मा सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।