बनबसा (चंपावत)-शिवालिक चाइल्ड साइंस क्लब, प्रोजेक्ट बियोंड एजुकेशन ,यूकेसी फाउंडेशन, यति फाउंडेशन व सहयोग फाउंडेशन की पहल पर बनबसा के डेविट पेंटर हाई स्कूल, ,पेंटर फार्म गुड़मी व शारदा इंटर कॉलेज बनबसा में दो दिवशीय प्रयोग आधारित विज्ञान कार्यशाला का शनिवार को सफल समापन हो गया।इस कार्यशाला में लगभग 300 बच्चो ने प्रतिभाग कर इसका लाभ उठाया।राजीव नवोदय विद्यालय के विज्ञान शिक्षक निर्मल न्योलिया के मार्गदर्शन एवं निर्देशन में यह कार्यशाला संपन्न हुई।
इस कार्यशाला में प्रयोग आधारित इन विज्ञान कार्यशालों में माध्यमिक स्तर की 10 प्रायोगिक गतिविधियां सिद्ध की गई और बच्चों द्वारा प्रमाण जुटाए।प्रयोग के प्रदर्शन से पहले बच्चों को समूहों में एनसीईआरटी विज्ञान विषय से जुड़े दस संबोध दिए गए। प्रत्येक समूह द्वारा उस प्रयोग को पहले समझ गया, उसके पीछे के सिद्धांत को जाना तत्पश्चात प्रयोगों को सामूहिक रूप से प्रदर्शित किया गया। प्रदर्शन के दौरान दोनों विद्यालयों के 300 बच्चे शामिल हुए। प्रयोग को सिद्ध करते वक्त सम्पूर्ण प्रक्रिया को बच्चों ने समझा कि क्यों यह घटना घट रही है? आखिर इस प्रयोग में हो क्या रहा है?
कार्यशाला का उद्देश्य यह था कि हम विज्ञान सीखने कैसे हैं? हम विज्ञान करें कैसे? क्या ऐसा किया जाए जिससे अपने आसपास उपलब्ध सामग्री को हम एक व्यवस्थित तरीके से एक वैज्ञानिक विधि के इस्तेमाल से उससे जुड़े सिद्धांत तक पहुंच सकते हैं? और उसे अपने जीवन की दैनिक गतिविधियों में खोज सकते हैं।
शिवालिक चाइल्ड साइंस क्लब द्वारा प्रोजेक्ट बियोंड एजुकेशन के तहत यूकेसी फाउंडेशन, यति फाउंडेशन और सहयोग फाउंडेशन की पहल पर यह कार्यशालाएं आजोजित की गई जिसमें सुमित पांडे, विनय जोशी, हर्षित, सर्वजीत, सुमित और वारिश अहमद की महत्वपूर्ण भूमिका रही।विद्यालय के शिक्षकों और शिक्षिकाओं का पूरा सहयोग मिला। अब आगे विद्यालय इस कार्यशाला से उपजे ज्ञान को, इस कार्यशाला में इस्तेमाल विधियों को अपनी कक्षा कक्ष की अधिगम प्रक्रिया का हिस्सा बनायेंगे।
यह एक छोटी सी पहल थी अब जरूरत है इस पहल को आगे बढ़ाने की। इसको सतत रूप से विद्यालय की पाठ्यचर्या में सम्मिलित करने की।
सीमांत क्षेत्र के दो विद्यालयों में आयोजित इस कार्यशाला में विद्यार्थियों को समझाया गया कि विज्ञान को सिर्फ पढ़कर नहीं अपितु प्रयोग करके समझने की जरूरत है, और किस प्रकार से विज्ञान के जटिल कांसेप्ट को प्रयोग द्वारा आसानी से समझा जा सकता है।
दोनों विद्यालयों के विद्यार्थियों ने बहुत उत्साह तथा उत्सुकता के साथ कार्यशाला में बड़-चढ़कर प्रतिभा किया। इस कार्यशाला के अंतर्गत कक्षा नवी और दसवीं के छात्र-छात्राओं को विज्ञान के विभिन्न संबंधों एवं सिद्धांतों को प्रयोगात्मक रूप से विभिन्न गतिविधियों द्वारा बच्चों के बीच लाया गया।
क्लब के अध्यक्ष सुमित पाण्डेय द्वारा सर्वप्रथम समस्त छात्राओं को गतिविधियों की जानकारी देकर टीम गठित की गई जिसके बाद बच्चों ने स्वेच्छा से चयनित गतिविधियों को व्यक्तिगत रूप से एक्सपर्ट द्वारा सीखा तथा समस्त विद्यालय के समक्ष प्रस्तुत किया।
क्लब के सचिव विनय जोशी, समन्वयक सर्वजीत सिंह, अकादमी ऑफिसर सुमित पाण्डेय द्वारा विज्ञान को सरल रूप से समझने के लिए विभिन्न प्रकार के प्रयोग करके दिखाएं तथा विज्ञान से संबंधित अनेकों प्रतियोगिताओं जैसे विज्ञान महोत्सव N.C.SC इंस्पायर इत्यादि के बारे में जानकारी दी। क्लब द्वारा विद्यालयों में आर्ट गैलरी लगाई गई, जिसमें विज्ञान के क्षेत्र में होने वाली विभिन्न खोजो संबंधित वैज्ञानिकों, चंद्रयान, सूर्ययान, विभिन्न कला रूपों की चित्रकारी प्रस्तुत की गई। क्लब के कल्चरल डिपार्मेंट से अब्दुल वारिस द्वारा एक नुक्कड़ नाटक की प्रस्तुति करवाई गई, जिसका उद्देश्य पेड़ों के कटान को रोककर वृक्षारोपण करना रहा।
क्लब ने क्षार अम्ल सूचक, दहन के लिए ऑक्सीजन आवश्यक, समांतर तथा श्रेणी परिपथ, H2 गैस का उत्सर्जन, साउंड, बर्निंग ऑफ़ मैग्नीशियम रिबन, घनत्व, विसरण की दर, से संबंधित प्रयोग सिखाए एवं करवाये। तत्पश्चात बच्चों द्वारा पूरे विद्यालय के समक्ष इन प्रयोगों को प्रदर्शित किया गया।
गतिविधि में गुड़मी से प्रथम स्थान पर राखी कुमारी, प्रियांशु भट्ट द्वितीय स्थान पर शुभम कुमार, सुभाष कुमार तथा तृतीय स्थान पर साहिल चंद, खुशबू कुमारी रहे, तथा शारदा से प्रथम स्थान पर साफिया, सानिया द्वितीय स्थान पर सोनिया, वंश तथा तृतीय स्थान पर सोहेल ,अनामभी रहे।
कार्यक्रम मैं निर्णायक की भूमिका अंजलि, एवं हर्षित सामंत जी ने निभाई। अध्यक्ष सुमित पांडे ने बताया कि क्लब का उद्देश्य विज्ञान के क्षेत्र में काम कर एक ऐसी युवा शक्ति को तैयार करना है जो विज्ञान को समझकर वैज्ञानिक काल के नवभारत निर्माण में अपना योगदान दे सके।कार्यक्रम यति सोशल फाउंडेशन नवी मुंबई द्वारा प्रायोजित तथा प्रोजेक्ट बियोंड एजुकेशन द्वारा सह प्रायोजित रहा। कैलाश उदय चंद जी ने इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए विशेष सहयोग दिया तथा क्लब का धन्यवाद ज्ञापित किया। प्रधानाचार्य श्री टम्टा जी द्वारा क्लब की विचारधारा कार्य शैली एवं उद्देश्य को सरहाया गया। इस दौरान अतुल जी, अनीता ज्याला जी, अन्य विद्यालय परिवार की उपस्थिति रही। कार्यक्रम निर्मल न्योलिया के मार्गदर्शन एवं निर्देशन में संपन्न हुआ।