खटीमा(उत्तराखंड)- खटीमा के नगर एवं ग्रामीण क्षेत्रों में गुरुवार की शाम खटीमा, मेलाघाट, सिसैया, बाईस पूल, झनकईया, नगला तराई, बगुलिया, नौसर, बंडिया, बरी, हल्दी घेरा, मोहम्मदपुर भूड़िया, दिंया आदि विभिन्न छठ घाटों पर श्रद्धालु महिलाओं और पुरुषों का भारी सैलाब उमड़ पड़ा। वही शुक्रवार को उगते सूर्य भगवान को व्रती महिलाओ द्वारा अर्घ्य देकर छठ पर्व का समापन हुआ।
गुरुवार को श्रद्धालु व्रती महिलाओं ने खटीमा के विभिन्न ग्रामीण इलाको में बने छठ घाट पर बने छठ माता की प्रतिमा पर विधिवत पूजा अर्चना किया तत्पश्चात डूबते हुए सूर्य को अर्ध्य दिया। श्रद्धालु व्रती महिलाओं तथा श्रद्धालु पुरुषों ने डलिया में विभिन्न प्रकार के फलों और पकवानों को सजाकर सिर पर रखकर गाजे-बाजे के साथ नंगे पांव पैदल चलकर छठ घाट पर पहुंची जहां श्रद्धालु महिलाओं ने छठ माता की विधिवत पूजा अर्चना की तथा छठ माता और सूर्य भगवान से मन्नतें मांगी। डूबते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के बाद श्रद्धालु व्रती महिलाएं अपने घर को वापस गईं जहां अपने घरों में स्थित पूजा स्थल पर भी पूजा अर्चना की।
वही शुक्रवार को श्रद्धालु व्रती महिलाएं सूर्योदय से पहले गाजे-बाजे के साथ छठ घाट पर पहुंच छठ माता और सूर्य देव की आराधना करी। तत्पश्चात उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के बाद अपने 36 घंटे के निर्जला व्रत का समापन किया।
इस दौरान महिलाएं छठ घाट पर अपनी डलिया में रखे फलों, पकवानों और मिष्ठान्नों का आपस में आदान-प्रदान कर एक दूसरे से गले मिलकर और पैर छूकर आशीर्वाद लिया। इस अवसर पर श्रद्धालु व्रती महिलाएं भगवान सूर्य देव तथा छठ माता से अपने संतान व परिजनों की सुख शांति, संतान प्राप्ति, खुशहाली, सुख स्मृद्धि एवं उन्नति की कामना छठ माता तथा भगवान सूर्य से की।
खटीमा क्षेत्र में पूर्वांचल समाज में छठ पर्व को लेकर श्रद्धालु महिलाओं पुरुषों एवं बच्चों में खासा उत्साह देखा गया।वही शुक्रवार को सूर्य भगवान व छठी मैया की उपासना का पर्व हर्षोल्लास के साथ सम्पन्न हुआ।