आदित्य बिरला ग्रुप के डिजिटल टेक्नोलॉजी और ट्रांसफॉर्मेशन ग्रुप के हेड हैं राजशेखर जोशी
लोहाघाट(चंपावत)- प्रमुख शिक्षाविद एवं देश के जाने माने साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट राजशेखर जोशी ने अपने नाम एक और महत्वपूर्ण उपलब्धि दर्ज कर ली है। चंपावत जिले के पाटी ब्लाक अंतर्गत किमाड़ गांव के संस्कृत भाषा के प्रकांड विद्वान एवं कुमाऊं विश्वविद्यालय के संस्कृत विभागाध्यक्ष रहे स्व डॉ जगन्नाथ जोशी के सुपुत्र राजशेखर जोशी को माननीय सर्वोच्च न्यायालय की ओर से पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा दी जा रही आर्थिक सहायता से चल रहे 31 विश्वविद्यालययों में कुलपति नियुक्त किए जाने हेतु 11 सदस्यीय चयन समिति में टेक्नोक्रेट के रूप में शामिल किया गया है, जो उत्तराखंड के पहले शिक्षाविद हैं जिन्हें माननीय उच्च न्यायालय के आदेश पर गठित चयन सूची में शामिल किया गया है।
जोशी वर्तमान में आदित्य बिरला ग्रुप के डिजिटल टेक्नोलॉजी और ट्रांसफॉर्मेशन के ग्रुप हेड एवं संयुक्त अध्यक्ष के रूप में अपनी सेवाएं देने के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के डिजिटल इंडिया के सपने साकार करने में लगे हुए हैं। जोशी की नई शिक्षा नीति में टेक्नोलॉजी का प्रारूप तैयार करने में उल्लेखनीय भूमिका रही है। इनके द्वारा उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर धामी के डिजिटल सलाहकार के अलावा प्रधानमंत्री कार्यालय के संग्रहालय सलाहकार के रूप में भी कार्य किया जा रहा है।
जोशी पलायन रोकने के लिए भी विशेष कार्य कर रहे हैं, इन्होंने बाराही धाम में अपनी माताश्री राधा देवी के नाम से सरस्वती शिशु मंदिर की स्थापना की है जो राज्य का पहला पूर्ण डिजिटल विद्यालय है, जिसमें आधुनिक शिक्षा की चुनौतियों का सामना करने के लिए बच्चों को तैयार कर उन्हें शिक्षा के साथ संस्कार भी दिए जा रहे हैं। श्री जोशी इसी माह अपने गृह क्षेत्र में आने वाले हैं, जहां वे बज्र बाराही की पूजा अर्चना कर उनका आशीर्वाद भी लेंगे।