लोहाघाट के रामलीला मैदान में शुरू हुआ दो दिनी विशाल होली रंग महोत्सव,नगर एवं ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं ने वेदांती होलियों का गायन कर बांधा समा

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होली रंग महोत्सव के कारण रामलीला मैदान खचाखच भरा दर्शकों व होलियारों से।

लोहघाट(चंपावत) – नगर में बारहवां होली रंग महोत्सव समारोह अपूर्व उल्लास एवं जोश खरोश के साथ शुरू हो गया है। जिसे देखने के लिए नगर समेत समीपवर्ती गावों की महिलाएं ,पुरुष होलियार दर्शक उमड़ पड़े। रामलीला मैदान में श्री राम सेवा सांस्कृतिक रामलीला कमेटी के सौजन्य एवं नगर पालिका परिषद लोहाघाट के तत्वावधान में आयोजित होली रंग महोत्सव में आयोजन समिति की ओर से अध्यक्ष जीवन मेहता, निवर्तमान पालिका अध्यक्ष गोविंद वर्मा, पूर्व अध्यक्ष लता वर्मा, मुकेश शाह, दीपक सुतेड़ी संजय फर्त्याल, ईश्वरी शाह ,डीडी पांडे, नरेश राय, दीप जोशी, सुनील चौबे, किरन पुनेठा, दिनेश सुतेडी (दानू ), सचिन जोशी, जीवन गहतोड़ी, जगदीश जोशी आदि लोगों ने होलियारों का टीका लगाकर स्वागत किया । होली रंग महोत्सव के कारण लोहाघाट की खड़ी होली को राज्य व राष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिली है।

गत वर्ष टनकपुर में आयोजित होली महोत्सव में नगर के समीप कोली ढेक गांव की महिलाओं ने अपने विशिष्ट सुर, लय -ताल से खड़ी होली का गायन कर न केवल श्रोताओं में अपनी धाक जमाई बल्कि समारोह में मौजूद स्वयं मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी इतने प्रभावित हुए कि उन्होंने महिला होलियारों के प्रयासों की सार्वजनिक तौर पर प्रशंसा कर उनका उत्साहवर्धन किया। बीते माह लोहाघाट में आयोजित संगज्यूँ महोत्सव में लोहाघाट के होली रंग महोत्सव को और व्यापक रूप देने के लिए एक लाख रुपये देने की भी घोषणा की है । जिससे यहां के होल्यार काफी प्रोत्साहित हुए हैं।

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मंगलवार को होली रंग महोत्सव का शुभारंभ नगर क्षेत्र की महिलाओं द्वारा योगीराज श्री कृष्णा पर आधारित होली “श्री धरै मुकुट खेलें होली श्रीधरे मुकुट खेले होली ‘गीत से समा बांध दिया। नगर एवं ग्रामीण क्षेत्र की महिलाएं होली के रंगीन परिधान में अपनी खुशी का इजहार कर रही थी।
रंग महोत्सव में होली के ढोल, हुड़का व झांझर बजाकर अलका ढेक, रेखा ढेक, कृष्णा देवी, उमा देवी, सुनीता ढेक के संयोजन में आई कोली ढेक की महिलाओं के रामलीला मैदान में आते ही दर्शकों ने तालियां बजाकर उनका स्वागत किया। इस दल में आई एक बुजुर्ग महिला को आयोजकों ने विशेष रूप से सम्मानित कर उनका आशीर्वाद प्राप्त किया। “राजा हरिश्चंद्र भए बड़े ज्ञानी, मांग ना आए ऋषि ज्ञानी” होली गीत ने जोश भर दिया। इस गांव की महिलाओं ने सामूहिक रूप से झोड़े का भी गायन कर विलुप्त होती जा रही इस विरासत को पुनर्जीवित कर नई पीढ़ी को इससे रूबरू कराया।

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होली कमेटी फोर्ति के चंद्रशेखर बगौली, महेश सुतेडी, मोहन बगौली, कैलाश जोशी ,भीम दत्त बगौली,हेम बगौली के नेतृत्व में हर उम्र के होलियारों ने “मथुरा पड़ गई राड गिरधर राज भई कंसासुर का” गीत की होली का गायन कर श्रोताओं की खूब तालियां बटोरी। श्री रामलीला कमेटी बिशुंग के बैनर तले होली रंग में सजी महिलाओं में गजब का उत्साह देखा गया।

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राजेंद्र फर्त्याल, उत्तम फर्त्याल, कैलाश फर्त्याल, रघुवर मुरारी नरेश आदि होलियारों के नेतृत्व में महिलाओं ने “सती जन जाए दक्ष राजा घर में सती जन जाए हो” एवं एसो निर्मोही दशरथ राज एसो ना देखो दशरथ राज” पर होलियों का गायन किया। बाद में आयोजिकों की ओर से सभी होलियारों को पुरस्कृत कर सम्मानित किया गया ।महोत्सव के कारण पूरा रामलीला मैदान दर्शकों से खचाखच भरा हुआ था । होली के बाद आयोजन समिति की ओर से रूम -झूमा के कलाकारों द्वारा अपने फन का जौहर दिखाया गया ।

Deepak Fulera

देवभूमि उत्तराखण्ड में आप विगत 15 वर्षों से इलेक्ट्रॉनिक मीडिया पत्रकार के रूप में कार्यरत हैं। आप अपनी पत्रकारिता में बेबाकी के लिए जाने जाते हैं। सोशल प्लेटफॉर्म में जनमुद्दों पर बेबाक टिपण्णी व सक्रीयता आपकी पहचान है। मिशन पत्रकारिता आपका सर्वदा उद्देश्य रहा है।

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